HINDUISM
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Govindram Hasanand Prakashan, अध्यात्म की अन्य पुस्तकें, अन्य कथेतर साहित्य
Athato Dharm Jigyasaa
धर्म के यथार्थ स्वरूप का दार्शनिक विवेचन-साधारण तौर पर लोगों के बीच धर्म या तो विवाद का विषय रहा है या फिर परंपरा का, जबकि यह चिंतन व विचार-विमर्श का विषय होना चाहिए। समाज में धर्म के विषय में फैली भ्रांतियों और असमंजस की स्थिति का निराकरण एवं इसके यथार्थ स्वरूप का उद्घाटन आवश्यक है। जिसकी चर्चा इस पुस्तक में तथ्य परक एवं तार्किक ढंग से की गई है।
इस पुस्तक में भौतिक तथ्यों एवं आंकड़ों का उल्लेख करके विषय को अधिक रोचक एवं प्रामाणिक बनाया गया है। धर्म ईश्वरोक्त है अर्थात् ईश्वर के द्वारा मनुष्य मात्र के लिए निर्धारित आचरण संबंधी निर्देश ही धर्म कहलाता है। प्रस्तुत पुस्तक में इस सिद्धांत का सफलता पूर्वक प्रतिपादन किया गया है।
‘धर्म का स्वरूप‘ इस पुस्तक का मुख्य अध्याय है। जिसके अंतर्गत धर्म के सूक्ष्म तत्व की विस्तृत व्याख्या की गई है। विशेष तौर पर अहिंसा, सत्य और विद्या जैसे विषयों की व्याख्या काफी रोचक और ज्ञानवर्धक है। धर्म के नाम से प्रचलित छः मुख्य संप्रदाय यह समूह (ईसाई, मुस्लिम, हिंदू, नास्तिक, बौद्ध, यहूदी) का संक्षेप विवरण ‘धर्माभास‘ नामक अध्याय में दिया गया है।
ताकि पाठकों को इनके बारे में साधारण तथ्य मालूम हो सकें। यह पुस्तक बुद्धिजीवी और तार्किक पाठकों को अवश्य पसंद आएगी। निःसंदेह इस उच्चकोटि की पुस्तक रचना के लिए लेखक को मेरा साधुवाद और इसकी सफलता हेतु बहुत-बहुत शुभकामनाएं।
– डॉ. वागीष आचार्य, गुरुकुल एटाSKU: n/a -
Garuda Prakashan, On Sale
Bharat mein Islam – 2: Bhoga Hua Sach
भारत में इस्लामी इतिहास और दुनिया भर में इस्लाम के रोचक पहलुओं को खोजने की आकांक्षा सबको होती है। इस उत्कृष्ट वीडियो संग्रह में, यूट्यूब पर आपके लिए उपलब्ध ‘एक्स मुस्लिम साहिल’, ‘समीर’, ‘सचवाला’, ‘अलमोसो फ्री’, ‘डॉ. फौजिया रऊफ’, ‘अमीना सरदार’, ‘हारिस सुल्तान’, और दूसरे श्रेष्ठ शिक्षकों के वीडियो हैं। ये प्रभावशाली विचारक विभिन्न देशों और संस्कृतियों से जुड़े हुए हैं और वे इस्लाम के विभिन्न पहलुओं पर गहरे शास्त्रार्थ करते हैं, जैसे कि विस्तारवादी इस्लाम, कुरान और हदीसों की व्याख्या आदि। ये वीडियो आपको इस्लामी अतीत की नई दृष्टिकोण प्रदान करेंगे और आपकी समझ में गहराईयों तक जाने का अवसर देंगे।
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Aryan Books International, English Books, Suggested Books, अध्यात्म की अन्य पुस्तकें, इतिहास
Flight of Deities and Rebirth of Temples – Episodes from Indian History
-10%Aryan Books International, English Books, Suggested Books, अध्यात्म की अन्य पुस्तकें, इतिहासFlight of Deities and Rebirth of Temples – Episodes from Indian History
This work examines the medieval response to temple destruction and image desecration. While temples were destroyed on a considerable scale, also noteworthy were the repeated endeavours to reconstruct them. In each instance of rebirth, the temple retained its original name, even though there was a visible downsizing in its scale and grandeur. The Keshava temple at Mathura, the Vishwanath temple at Kashi, the Somnath temple in Saurashtra, the Rama mandir at Ayodhya were among the shrines continually restored, well after Hindus had lost all semblance of political power. The Bindu Madhava, the most important Vishnu temple in Varanasi, was demolished in 1669 and a mosque constructed in its place. The temple now bearing the name Bindu Madhava is a modest structure in the shadow of the mosque, but continues the traditions associated with the site. Intriguingly, mosques built on temple sites often retained the sacred names – Bijamandal mosque, Lat masjid, Atala masjid, Gyanvapi mosque, and not to forget, masjid-i- janamsthan.
Equally worthy of study was the fate of images enshrined in temples. Many were swiftly removed by anxious devotees, many more were hurriedly buried; some remained on the move for decades, till such time they could be escorted back to their abodes. In several cases, images were damaged in flight. Countless images were lost, as their places of burial were forgotten over time. That necessitated the consecration of new images in more peaceable circumstances. So there were temples of the tenth-eleventh centuries, which housed images instated in the sixteenth. In situations where neither temple nor image could be safeguarded, the memory endured, and a shrine was recreated after an interval of several centuries.
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Rajasthani Granthagar, ऐतिहासिक नगर, सभ्यता और संस्कृति
Hindu Shreshthata – Harvilas Sharda Krit Sampurn Vishva ke Maapdand
-10%Rajasthani Granthagar, ऐतिहासिक नगर, सभ्यता और संस्कृतिHindu Shreshthata – Harvilas Sharda Krit Sampurn Vishva ke Maapdand
हिन्दू श्रेष्ठता – हरविलास शारदा कृत सम्पूर्ण विश्व के मापदण्ड : विश्व के लगभग सभी बड़े देशों का इतिहास विस्मृति के कुहासे में लुप्त है, सभी देशों में बाह्य एवं आन्तरिक समाघातों और संघर्षों के कारण जीवन की परिस्थितियां बहुत बदली हैं। किन्तु व्यापक मानवता के लिए यही हितकारी है कि प्रत्येक महान् जाति के सुदूर अतीत तक का अधिक से अधिक ज्ञान प्राप्त हो सके। इसी उद्देश्य की पूर्ति करती है कि यह पुस्तक।
‘भारत वह स्त्रोत है जहां से न केवल शेष एशिया अपितु सारे पश्चिम जगत ने अपना ज्ञान और धर्म प्राप्त किए।’ – प्रोफेसर हीरेन
‘पृथ्वी पर रहने के लिए भारत सबसे अधिक रुचिकर स्थान है और विश्व का सबसे आनन्ददायक प्रदेश है।’ – अब्दुला वासफवर्तमान भला कैसे फलप्रद हो सकता है या भविष्य कैसे आशा दिला सकता है, यदि उनकी जड़े दृढ़ता से अतीत में गड़ी हुई न हो। प्रस्तुत पुस्तक में भारत देश के उस अतीतकालिक सभ्यता की एक झलक दिखाने का प्रयास है, जो अद्भुत, अतुलनीय एवं सर्वप्रकारेण आकर्षक थी। इस पुस्तक का उद्देश्य यही है कि प्राचीन हिन्दुओं के उदात्त चरित्र और अपूर्व उपलब्धियों का परिचय कराके मनुष्य को हिन्दू सभ्यता की श्रेष्ठता का मूल्यांकन करने में समर्थ बनाया जाए।
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Hindi Books, Prabhat Prakashan, इतिहास, सनातन हिंदू जीवन और दर्शन
Hinduon Ki Sangharsh Gatha
वास्तव में पाकिस्तान न कोई देश है और न राष्ट्र; यह केवल हिंदू विरोधी उग्र इस्लामी मानसिकता का गढ़ है। सन् 1947 में हुआ बँटवारा कोई दो भाइयों के बीच हुआ जमीन का बँटवारा नहीं था, यह हिंदुओं के प्रति इस्लाम के अनुयायी कट्टरपंथी मुल्लाओं की तीव्र घृणा का परिणाम था।
आज समय की आवश्यकता तो यह है कि स्वयं मुस्लिम भी इस्लाम की गिरफ्त से बाहर निकलें, लेकिन यह मुस्लिम समुदाय में बहुत बड़ी क्रांति से ही संभव है, पर जब तक यह नहीं होता, तब तक हिंदुओं को समझ लेना चाहिए कि इस्लाम के सीधे निशाने पर केवल हिंदू हैं।
आज यह बात ठीक से समझ लेने की जरूरत है कि इस्लाम का जन्म ही मूर्तिपूजा और बहुदेववाद को नष्ट करने के लिए हुआ है। उसके धर्मांध अनुयायियों ने भी मूर्तिपूजकों को जड़ से समाप्त करने का बीड़ा उठा रखा है। दुनिया में ईसाई और मुसलिम एक ही परंपरा की उपज हैं, इसलिए लाख शत्रुता के बाद भी एक-दूसरे के लिए उनके दिल में स्थान है। इसीलिए हिंदू दोनों के ही निशाने पर है।
प्रस्तुत पुस्तक ऐतिहासिक परिप्रेक्ष्य में इस्लाम का परिचय कराने के साथ-साथ हिंदुओं के संघर्ष को इस तरह पेश करती है कि सामान्य पाठक भी उसे सहज ही समझ ले। इस्लाम का यथातथ्य पूरी बेबाकी के साथ परिचय करानेवाली हिंदी की यह शायद पहली पुस्तक है। इसमें काफी साहसपूर्ण ढंग से अनेक ऐसे सत्य उद्घाटित किए गए हैं, जिनको जानना किसी भी जागरूक भारतीय के लिए आवश्यक है।SKU: n/a -
Hindi Sahitya Sadan, इतिहास, प्रेरणादायी पुस्तकें (Motivational books), सही आख्यान (True narrative)
HINDUTVA KI YATRA (PB)
Hindi Sahitya Sadan, इतिहास, प्रेरणादायी पुस्तकें (Motivational books), सही आख्यान (True narrative)HINDUTVA KI YATRA (PB)
‘हिन्दुत्व की यात्रा’ नाम से ही पुस्तक का प्रतिपाद्य विषय स्पष्ट हो जाता है। प्रस्तुत पुस्तक द्वारा विद्वान लेखक ने आदिकाल से आरम्भ कर अब तक के आर्य-हिन्दू की जीवन मीमांसा का विशद वर्णन किया है। न केवल इतना, अपितु उन्होंने तथाकथित पाश्चात्य पण्डितों ने भारतीय मानस-पुत्रों, उनकी धारणाओं एवं मान्यताओं का निवारण एवं निराकरण भी किया है जो आर्य-हिन्दू को यहां का मूल निवासी नहीं मानते।
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Garuda Prakashan, On Sale, जीवनी/आत्मकथा/संस्मरण
Kalki Tu Kahan Hai: Life story of Swami Pranavanand Saraswati
-25%Garuda Prakashan, On Sale, जीवनी/आत्मकथा/संस्मरणKalki Tu Kahan Hai: Life story of Swami Pranavanand Saraswati
कल्कि तू कहाँ है: स्वामी प्रणवानंद की जीवन गाथा ‘मेजर जनरल जीडी बख्शी द्वारा लिखित पुस्तक स्वामी प्रणवानंद के जीवन के बारे में बात करती है। उन्होंने अपने जीवन के 12 साल जंगल में बिताए और कैसे उनके श्रम का भुगतान हुआ। एक पुस्तक जो जीवन के प्रति आपके विचारों को बदल देगी क्योंकि आप स्वामी प्रणवानंद के जीवन से बहुत कुछ सीखेंगे।
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Hindi Books, Shri Kashi Vishwanath Sansthan, Suggested Books, अन्य कथेतर साहित्य, ऐतिहासिक नगर, सभ्यता और संस्कृति
Kashi Rahasyam (Hindi Tika Sahit)
-15%Hindi Books, Shri Kashi Vishwanath Sansthan, Suggested Books, अन्य कथेतर साहित्य, ऐतिहासिक नगर, सभ्यता और संस्कृतिKashi Rahasyam (Hindi Tika Sahit)
काशी रहस्यम (हिंदी अनुवाद सहित) एवं सूक्ति रत्नावली हिंदी व्याख्या सहित
स्कन्द पुराणीय ‘काशीखण्ड ‘ इस ग्रन्थ से जैसे कशी स्थित विभिन्न तीर्थों, देवालयों, वापी, कूप अदि के भूगोल एवं इतिहास इन दोनों के ज्ञान के साथ उनके आध्यात्मिक एवं धार्मिक महत्व का परिचय प्राप्त होता है वैसे ही ‘काशी रहस्य’ के अनुशीलन से कशी से सम्बंधित गूढ़ तत्त्वों रहस्यों का ज्ञान होता है। काशीरहस्य यह प्राचीन ब्रह्मवैवर्त का तृतीय खंड है ऐसा उसकी अध्याय के अंत में दी गयी पुष्पिका से ज्ञात होता है।
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Hindi Sahitya Sadan, राजनीति, पत्रकारिता और समाजशास्त्र, सही आख्यान (True narrative)
Kya Hindu Mit Jayenge?
Hindi Sahitya Sadan, राजनीति, पत्रकारिता और समाजशास्त्र, सही आख्यान (True narrative)Kya Hindu Mit Jayenge?
“क्या हिन्दू मिट जायेंगे ?” – सच्चिदानंद चतुर्वेदी
एक अत्यंत गंभीर सवाल – अस्तित्व का सवाल – आज हिन्दू मानस में तीव्रता के साथ घूम रहा है ! इस विषय में यथा क्रम और सांगोपांग अध्यन करनेवालों के चिंतन के परिणाम एक भयानक प्रश्न खड़ा कर रहे है – क्या हिन्दू मिट जायेंगे ?
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Gita Press, अध्यात्म की अन्य पुस्तकें, सनातन हिंदू जीवन और दर्शन
Nitya Karm Puja Prakash (HB)
नित्य कर्म पूजा प्रकाश : गीता प्रेस हिंदी पुस्तक
इस पुस्तक में व्यक्तिके लौकिक और पारलौकिक उत्थानके लिये तथा नित्य-नैमित्तिक काम्य कर्मोंके सम्पादनके लिये शास्त्रीय प्रक्रिया प्रस्तुत की गयी है। प्रातःकालीन भगवत्स्मरणसे लेकर स्नान, ध्यान, संध्या, जप, तर्पण, बलिवैश्वदेव, देव-पूजन, देव-स्तुति, विशिष्ट-पूजन-पद्धति, पञ्चदेव-पूजन, पार्थिव-पूजन, शालग्राम-महालक्ष्मी-पूजनकी विधि तथा अन्तमें नित्यस्मरणीय स्तोत्रोंका संग्रह होनेसे यह पुस्तक सबके लिये उपयोगी तथा संग्रहणीय है।
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Akshaya Prakashan, अन्य कथेतर साहित्य, सही आख्यान (True narrative)
RELIGION AS KNOWLEDGE: The Hindu Concept
Akshaya Prakashan, अन्य कथेतर साहित्य, सही आख्यान (True narrative)RELIGION AS KNOWLEDGE: The Hindu Concept
Summary: This book is a serious attempt at informing the average Indian, and particularly the Hindu, of his philosophy, culture and heritage. Description: This book consists of 20 chapters apart from the Introduction. The chapters are, A Brief Historical Background, Sanatana Dharma, Veda, Upanishad, Smriti, Purana, Ramayana, Mahabharata, Bhagavad Gita, Arthasastra, Kamasastra, Karma,m Chaturvarna, The Six Philosophical Systems etc.
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Hindi Books, Prabhat Prakashan, संतों का जीवन चरित व वाणियां
Sarvagunakar Shrimant Shankardev
भारतभूमि संतों, महात्माओं एवं सिद्ध पुरुषों की लीलाभूमि रही है। उन्होंने दिव्य ईश्वरीय चेतना का साक्षात्कार कर सृष्टि के कल्याण के निमित्त सदाचरण एवं मानवीय आदर्शों का उपदेश दिया। भारतीय संस्कृति का निर्माण ऐसे ही दिव्य पुरुषों के उच्चादर्शों एवं आप्त वचनों का फल है। ऐसे आध्यात्मिक सिद्धपुरुषों का उद्भव प्रत्येक देशकाल में होता रहा है। भारतभूमि के असम प्रांत में 15वीं सदी में जनमे श्रीमंत शंकरदेव ऐसे ही एक दिव्य व्यक्तित्व थे, जिन्होंने अपनी सुकीर्ति से पूरे पूर्वोत्तर के सांस्कृतिक परिदृश्य में अपने एक शरणिया नामधर्म के द्वारा अभूतपूर्व आलोडऩ एवं जनजागरण पैदा किया।
घोर निराशाजनक परिदृश्य में असम में श्रीमंत शंकरदेव का आविर्भाव हुआ। पूरा देश उस समय भक्ति आंदोलन की उदार एवं पावन रसधारा से आप्लावित हो रहा था। संपूर्ण भारतवर्ष एक सांस्कृतिक प्राणवत्ता की धड़कन से स्पंदित था। श्रीमंत शंकरदेव ने अपनी सुदीर्घ साधना, विराट प्रतिभा एवं प्रगाढ़ जनसंपर्क से युगीन संकट की प्रकृति एवं दिशा को समझ लिया। समाधान सूत्र के रूप में उन्होंने वैष्णववाद की परंपरागत अवधारणाओं में नवीन तत्त्वों एवं मान्यताओं का अभिनिवेश किया।
श्रीमंत शंकरदेव मात्र एक आध्यात्मिक गुरु ही नहीं थे, वरन एक श्रेष्ठ कवि, साहित्यकार, चित्रकार, नाटय व्यक्तित्व, उद्यमकर्ता, संगठक और सच्चे अर्थों में एक जननायक थे।”
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